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विद्यार्थियों और उनके घर के सदस्यों को सेकंड डोज लगाने के लिए करें प्रेरितः कलेक्टर

कलेक्टर ने ली जिले के सभी शासकीय-अशासकीय महाविद्यालय एवं विद्यालयों के प्राचार्यों की बैठक
इंदौर। जिले में कल से शुरू हो रहे टीकाकरण महाअभियान के सफल क्रियान्वयन के लिए व्यापक तैयारियां की जा रही है। कलेक्टर मनीष सिंह के निर्देशन में जिला प्रशासन द्वारा 30 नवंबर तक शत-प्रतिशत पात्र हितग्राहियों को कोरोना वैक्सीन का सेकंड डोज लगाने का संकल्प लिया गया है। इस तारतम्य में आज कलेक्टर मनीष सिंह की अध्यक्षता में डीएवीवी के ऑडिटोरियम में तीन चरणों में बैठक आयोजित की गई, जिसमे समस्त शासकीय एवं अशासकीय महाविद्यालय, हायर सेकेण्डरी स्कूल, उच्चतर माध्यमिक विद्यालय तथा हाई स्कूल के प्राचार्य शामिल हुए। बैठक में अपर कलेक्टर अभय बेडेकर सहित स्वास्थ्य एवं शिक्षा विभाग से संबंधित अधिकारी उपस्थित रहे।
कलेक्टर मनीष सिंह ने जिले के सभी महाविद्यालय के प्राचार्यों को निर्देश दिए कि वे उनके महाविद्यालय में कार्यरत स्टाफ तथा 18 वर्ष से अधिक आयु के विद्यार्थी एवं उनके परिवार के सभी सदस्य को कोरोना का दूसरा डोज लगाने के लिए प्रेरित एवं जागरूक करें। इसके लिए कॉलेज में नोडल टीचर नियुक्त किए जाएं जो ये सुनिश्चित करे कि सभी ने कोरोना वैक्सीन का दूसरा डोज लगवा लिया है। साथ ही उसका प्रमाण पत्र भी सभी से एकत्रित किया जाए। स्कूल में पढ़ने वाले विद्यार्थी को 18 वर्ष से कम आयु के हैं उन्हें प्रेरित किया जाए की वे अपने घर के सदस्यों को कोरोना वैक्सीन का दूसरा डोज लगाने के लिए जागरूक करें। कलेक्टर श्री सिंह ने सभी से अपील करते हुए कहा कि जनभागीदारी से हमें इस महाअभियान को सफल बनाकर कोरोना के खतरे से जिले को सुरक्षित करना है।
बच्चों ने इंदौर को स्वच्छता में नंबर वन बनाने में जो भूमिका निभाई वही भूमिका अब कोरोना वैक्सीनेशन में अपेक्षित
कलेक्टर मनीष सिंह ने कहा कि जिले के बच्चों ने स्वच्छता के प्रति जागरूकता फैलाने में विशेष योगदान दिया था। उसी तर्ज पर बच्चों के माध्यम से हम उनके परिवार के सदस्य एवं समाज के लोगों को प्रेरित करने का प्रयास कर सकते हैं। इस प्रयास में शिक्षा विभाग की महती भूमिका रहेगी। उन्होंने कहा कि 14 नवंबर को आयोजित किए जाने वाले बाल दिवस पर सभी स्कूलों में कोरोना वैक्सीनेशन के प्रति जागरूकता हेतु एक प्रतियोगिता भी आयोजित की जाएगी जिसमें विजेता विद्यार्थियों को जिला प्रशासन की ओर से पुरस्कृत भी किया जाएगा। इसी तरह एनसीसी एवं रेड क्रॉस के स्काउट एंड गाइड के बच्चों के माध्यम से भी शहर के विभिन्न कॉलोनी एवं मोहल्लों में जागरूकता अभियान भी चलाया जा सकता है। उन्होंने कहा कि शिक्षा विभाग के सभी प्राचार्य एवं शिक्षकों की नैतिक एवं मानवीय जिम्मेदारी है कि वे जिले में शत-प्रतिशत कोरोना वैक्सीनेशन कराने में अपनी सहभागिता निभाएं।
अपर कलेक्टर श्री अभय बेडेकर ने कहा कि इंदौर जिले में शत-प्रतिशत कोरोना वैक्सीनेशन कराने के लक्ष्य की पूर्ति में शिक्षा विभाग की बहुत महत्वपूर्ण भूमिका रहेगी। स्कूल में पढ़ रहे बच्चे अपने परिवार एवं समाज के लोगों को कोरोना वैक्सीन का दूसरा डोज लगवाने के लिए बेहतर तरीके से प्रेरित कर सकते हैं। उन्होंने सभी महाविद्यालय एवं विद्यालय के प्राचार्य से अनुरोध किया कि वे विद्यार्थियों को जागरूक करें और कोरोना वैक्सीनेशन के महत्व के बारे में समझाएं। हम सभी का सामूहिक संकल्प ही इंदौर का कोरोना की तीसरी लहर से बचाव कर सकता है।
बैठक में सभी शासकीय एवं अशासकीय महाविद्यालय एवं विद्यालय के प्राचार्यों ने संकल्प लिया कि वे इंदौर को कोरोना वैक्सीन के शत-प्रतिशत सेकंड डोज लगवाने के लक्ष्य में पूर्ण सहभागिता निभायेंगे।